आग ने छीना गरीबों का आशियाना,सैकडो परिवार हुए तबाह
इस गलन भरी ठंड में न ओढने को बिस्तर, न खाने को रोटी । बडी तबही के बाद भी जिला प्रसाशन मौन क्षेत्रीय पार्षद विधायक समेत समाजिक संस्थाओं ने भी नही बढाए हाथ सूचना पर पहुंची आधादर्जन से भी ज्यादा दमकल ने आग पर पाया काबू
लखनऊ — आलमबाग थाना क्षेत्र अन्तर्गत रेलवे की खाली पडी जमीन पर बनी झुग्गी झोपडी में रविवार की देर रात लगभग दो बजे अचानक लगी आग ने देखते ही देखते विक्राल रूप धारण कर लिया और सैकडों झोपड़ियों को इस भीषण आग ने अपना ग्रास बना लिया। सूचना पाकर मौके पर पहुंची पहली दो दमकल गाड़ियों ने आग पर नियत्रंण पाने की कोशिश की लेकिन भीषण आग पर काबू पाने के लिए चार दमकल गाडियां और बुलानी पडी जबतक फायर कर्मियों ने इस आग पर पानी का बौछार मार नियंत्रण में करने का प्रयास किया तबतक इस भीषण आग ने सैकडों गरीबों की गृहस्थी को अपना निवाला बना लिया।
वहीं सोमवार की सुबह जब उजाला हुआ तब सूरज की किरणों रात की तबाही साफ दिख रही थी। गरीब रोजी रोटी कमाने की बजाए अपने जले हुए आशियाना को निहार रहे थे। इस गलन भरी ठंड में उनके पास न ही ओढने को चादर, न सिर पर छत और न ही खाने को रोटी बची। वहीं आग की सूचना पर पहुंचे नवनिर्वाचित क्षेत्रीय पार्षद त्वरित मदद करने के बजाय पीड़ित गरीबोें को मदद दिलाने का अश्वासन दे चलते बने।
वहीं कुछ क्षेत्रीय नेताओं ने आगे बढ गरीबों को बिस्कुट व भोजन का प्रबंध को कराया। लेकिन जिम्मेदार इस त्रास्दी के बाद भी चुप्पी साधे हुए है। इस तबाही की कबरेज करने जब मीड़ियाकर्मी पहुंचें तो अपने दुखों से लड रहे गरीब गरीबों में एक उम्मीद की किरण दिखी और मीड़ियाकर्मीयों को घेर अपनी पीड़ा बयान करने लगे।
इसी क्रम में जुग्गी झोपड़ी में अपनी जीवन बसर कर रही सरोजनी देवी पत्नी श्री राम अपनी पीडा व्यक्त करते हुए बताया कि परिवार में कुल छह सदस्य है बडी बेटी का विवाह वर्ष 2018 अप्रैल माह में होना तय है जिसकी तैयारी में घीरे घीरे सामान एकत्र कर रहे थे इस आग में घर के सामानों के साथ साथ बेटी के दहेज का सामान भी जलकर राख हो गया। झोपडी मे रहने वाली सुधा पत्नी मनीष के अनुसार पति दो माह से मानसिक विक्षप्ति है जिसका इलाज चल रहा है पांच बच्चों के भरण पोषण के लिए बडे घरों में चैका बर्तन का काम कर जीविका चला रही थी अब पास में कुछ भी नही बचा सबकुछ जलकर राख हो गया ।