लखनऊ — यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के सख्त रुख के बाद उत्तर प्रदेश में 50 पार के भ्रष्ट और नाकारा अफसरों व कर्मचारियों के खिलाफ अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी जाएगी।
एडीजी स्थापना पीयूष आनन्द ने पुलिस की सभी इकाइयों के प्रमुखों, सभी आईजी रेंज और एडीजी जोन को ऐसे नाकारा पुलिसवालों की सूची 30 जून तक भेजने के लिए पत्र लिखा है।
गौरतलब है कि भाजपा सरकार के सत्ता संभालने के बाद ही पुलिस समेत सभी विभागों में 50 पार के ऐसे लोगों की छंटनी का आदेश दिया गया था, जिनका रेकॉर्ड अच्छा नहीं रहा है। गृह विभाग की समीक्षा के दौरान सीएम योगी ने भ्रष्ट और नाकारा पुलिसकर्मियों को जबरन सेवानिवृत्ति देने के निर्देश दिए थे। उसके बाद एडीजी ने सभी इकाइयों और जिलों में बनाई गई स्क्रीनिंग कमिटी की रिपोर्ट तलब कर ली है। उन पुलिसवालों की छंटनी की जाएगी, जो 31 मार्च 2019 को 50 वर्ष की आयु पार कर चुके हैं।
सूत्रों की माने तो ऐसे 30 अफसरों को चिह्नित भी कर लिया गया है, जिन्हें अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी जाएगी। इसमें 17 समीक्षा अधिकारी, आठ अनुभाग अधिकारी, तीन अनुसचिव और दो उप सचिव शामिल हैं। इन सबके खिलाफ पूर्व में हुई जांचों, कार्रवाई और उनके खिलाफ दर्ज आपराधिक मामलों का ब्योरा जुटाया जा रहा है, ताकि उन्हें सेवा से हटाने के पर्याप्त आधार मौजूद रहें। बता दें कि इससे पहले केंद्र सरकार ने भी 15 वरिष्ठ आईटी अधिकारियों को ‘जबरन सेवानिवृत्त’ कर दिया था।