कोरोना काल में भी जिस्मफारोशी का गंदा धंधा फलफूल रहा है। वहीं पुलिस की झापेमारी में इसका खुलासा हुआ। इसमें चौंकाने वाली बात ये है कि पूरा रैकेट आवास योजना के 4 मकानों में चल रहा था। इन मकानों में 11 लड़कियां थी। जिन्हें पुलिस ने मुक्त करवाया।
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चारों मकानों पर था राजू यादव का कब्जा
वहीं इस मामले में मुख्य आरोपी राजू यादव को गिरफ्तार कर लिया गया। चारों मकान पर राजू यादव का कब्जा था, जबकि ये मकान प्रधानमंत्री की आवास योजना के तहत गरीब बेघर लोगों को आवंटित थे। जांच में सामने आया कि राजू ने इन मकानों को पहले महंगे किराए पर लिया और बाद में कब्जा में कर लिया था। पुलिस के एक जागरूक नागरिक ने इस रैकेट के बारे में पुख्ता सूचना दी थी।
ग्राहकों के अंदर जाते ही लगा दिया जाता था ताला
इसके बाद अहमदाबाद के कृष्णानगर पुलिस ने इन मकानों पर छापेमारी की तो 11 लड़कियां अंदर मिलीं, जबकि मकानों के ताले बाहर से बंद थे। इसके बाद मुख्य आरोपी राजू यादव को गिरफ्तार किया गया। पकड़ी गई सभी लड़कियां महाराष्ट्र, बंगाल और उड़ीसा की हैं।
पूछताछ में लड़कियों ने बताया कि राजू और उसके साथी ग्राहक लाया करते थे। वे प्रति ग्राहक से 1 से 2 हजार रुपए लेते थे। ग्राहकों के मकान में अंदर जाते ही राजू और उसके साथी मकान में बाहर से ताला लगा देते थे। यह सिलसिला पिछले 3-4 हफ्तों से चल रहा था।
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