मेरठ — जिले के उल्देपुर गांव में हुए संघर्ष में मारे गए दलित युवक रोहित की मौत का मामला लगातार तूल पकड़ने लगा है। हत्यारों की गिरफ्तारी की मांग को लेकर दलितों ने मेरठ के कमिश्नरी चौराहे पर 101 गांव के दलितों की महापंचायत का एलान किया था।
पंचायत आज होनी थी लेकिन प्रसाशन ने धारा 144 का हवाला देते हुए इस पंचायत को होने से रोक दिया जिसके बाद दलितों ने हंगामा शुरू कर दिया। दलितों का आरोप है की दलितों को इंसाफ नही मिल रहा है । दलितों ने प्रसाशन तक अपनी बात पहुचाने के लिए ये महापंचायत का आयोजन किया था लेकिन महापंचायत स्थल को आने वाले तमाम रास्तों को सील कर दिया गया है।
दलितों का आरोप है कि सवर्णों को प्रदर्शन करने दिया जाता है लेकिन दलितों को रोका जा रहा है। क्या धारा 144 सिर्फ दलितों के लिए ही बनी है। उनका आरोप है कि क्षत्रिय समाज के लोगो ने कुछ दिन पहले यहीं पर महापंचायत कर पुलिस पर दबाव बनाते हुए दलित पक्ष जो कि पीड़ित है 13 लोगो पर मुकद्दमा दर्ज करवा दिया है।
वहीं, प्रशासन का कहना है कि 5000 दलितों के जुटने का इनपुट था। लेकिन, धारा 144 लगे होने के चलते दलित महापंचायत होने से रोकी गयी है। प्रशासन का कहना है कि कोई अनुमति नही ली गयी है । और मामले की जाँच कर पीड़ितों को इंसाफ दिलाया जाएगा और आरोपियों को किसी कीमत पर बख्शा नही जाएगा।
(रिपोर्ट-अर्जुन टंडन,मेरठ)