लखनऊ — उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ के कुंड़ा से बाहुबली विधायक व पूर्व मंत्री रघुराज प्रताप सिंह राजा भैया एक बार फिर सियासत में अपना दम खम दिखा रहे हैं। इस बार कुंडा के राजा अपनी नई पार्टी लेकर चर्चा में हैं।
वहीँ सपा सुप्रिमों अखिलेश यादव से मनमुटाव के बाद खुद की पार्टी बना चुके शिवपाल यादव भी चुनावी मैदान में हैं। दोनों नेताओं के साथ आगामी लोकसभा चुनावों में गठबंधन को लेकर एक बड़ी सियासी पार्टी ने पेशकश की है।
दरअसल सपा के बागी शिवपाल यादव कह चुके हैं कि चुनाव में उनकी प्रगतिशील पार्टी सभी सीटों पर अपने उम्मीदवार उतरेगी। यहां तक कि वह सपा राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के खिलाफ भी प्रत्याशी खड़ा करेंगे। वहीं सियासी गलियारों में ऐसी चर्चा है कि शिवपाल यादव की नई पार्टी बनाने के पीछे बीजेपी का सहयोग है।जबकि राजा भैया और अखिलेश यादव के बीच आयीं दूरियों से दुनिया वाकिफ है। ऐसे में इन नेताओं का साथ आना किसी भी पार्टी के लिए मुश्किलें बढ़ा सकता है।
उल्लेखनीय है कि इसी देखते हुए राजा भैया की नवगठित पार्टी जनसत्ता दल व शिवपाल की प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) से हाथ मिलाने के लिए लोकदल तैयार है। लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष व पूर्व एमएलसी चौ. सुनील सिंह ने कहा कि वे एससी-एसटी एक्ट में किए गए बदलाव का विरोध कर रहे हैं। राजा भैया भी संपन्न इस वर्ग को दिए जाने वाले आरक्षण व्यवस्था का विरोध कर रहे हैं। यही हमारा वैचारिक मत एक है।
अब देखना यह है दोनों नेताओं के साथ आगामी लोकसभा चुनावों में गठबंधन को तैयार लोकदल क्या गुल खिलाता है। यदि तीनों पार्टी गठबंधन कर एक साथ मैदान पर उतरती है तो किस पार्टी पर भारी पड़ेगी यह तो मतदाता तय करेगा।