लखनऊ — रेल मंत्रालय ने गुरुवार को देश के सबसे गंदे 10 स्टेशनों की एक लिस्ट जारी की है। जिसमें यूपी के चार स्टेशनों के नाम शामिल हैं। इस लिस्ट में कानपुर सेंट्रल देश का सबसे गंदा स्टेशन है।यह हाल तब है, जब इस स्टेशनों पर सालाना 20 करोड़ रुपए से अधिक की राशि साफ-सफाई पर खर्च होती है।
यह रिपोर्ट सीधे-सीधे बता रही है कि किस तरह से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छता अभियान को पलीता लगाया जा रहा है। खुद प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र का वाराणसी जंक्शन देश का चौथा सबसे गंदा स्टेशन है। जबकि लखनऊ का चारबाग स्टेशन इस लिस्ट में 9वें पायदान पर है और इलाहाबाद स्टेशन छठे स्थान पर है।वहीं पटना स्टेशन दूसरे पायदान पर है।
दरअसल भारतीय रेलवे ने 11 मई से 17 मई के बीच एक सर्वे किया इस दौरान4 यात्रियों से बातचीत के आधार पर यह रेटिंग दी गई। इस सूची के मुताबिक, टॉप 10 सबसे गंदे रेलवे स्टेशनों में यूपी का कानपुर सेंट्रल रेलवे स्टेशन देश का सबसे गंदा रेलवे स्टेशन है। इसके अलावा देश से दस सबसे गंदे रेलवे स्टेशनों में मुंबई के तीन रेलवे स्टेशन शामिल हैं। इसमें मुंबई का कल्याण तीसरा, लोकमान्य तिलक टर्मिनल पांचवा और ठाणे आठवां सबसे गंदा स्टेशन बताया गया।
सर्वे के मुताबिक, कानपुर को सबसे ज्यादा 61.06 फीसदी लोगों ने गंदा स्टेशन बताया। इसके बाद पटना जंक्शन का नंबर था, जिसे 60.16 फीसदी लोगों ने बेहद गंदा बताया। लिस्ट में 56 फीसदी मतों के साथ वाराणसी चौथे नंबर पर रहा। इसके अलावा इलाहाबाद छठा, पुरानी दिल्ली सातवां, लखनऊ नौवां और चंडीगढ को दसवां सबसे गंदा स्टेशन करार दिया गया।
रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने मीडिया को बताया कि सर्वे के हर दिन एक हर ट्रेन के लिए औसतन 60-70 कॉल्स की गईं। एक दिन में यात्रियों को एक लाख कॉल्स करने की कोशिश की गई। उन्होंने कहा कि यात्रियों से मिला फीडबैक यात्री सुविधाओं और सेवा प्रदाताओं की जवाबदेही को ठीक करने में मदद करेगा।