न्यूज डेस्क –केंद्र सरकार की नीतियों को लेकर वाम मोर्चा समर्थित मजदूर संगठनों ने दो दिन के भारत बंद की घोषणा की है। यह 8 व 9 जनवरी को होगा। इस बंद से न केवल बैंक बल्कि बस, ट्रेन, ऑटो, बाजार और अन्य जगह पर असर पड़ने की संभावना है।
बंद से अरबों रुपये का कारोबार भी प्रभावित होने की संभावना है।मजदूर संगठन केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ बंद करेंगे। संगठनों का आरोप है कि नोटबंदी, जीएसटी से व्यापारियों को काफी मुश्किल से अपना व्यापार करना पड़ रहा है और केंद्र सरकार व्यापारियों के खिलाफ दमनकारी नीति चला रही है।
मार्क्सवादी कम्यूनिस्ट पार्टी की किसान सभा से जुड़े किसान भी इस बंद में हिस्सा लेंगे। वहीं इस बंद के दौरान देश भर में रेल रोको आंदोलन भी चलाया जाएगा। किसानों का संपूर्ण कर्जमाफी व 3500 रुपये मासिक बेरोजगारी भत्ता देने की मांग व कई मुद्दे इस हड़ताल में शामिल किए गए है।
8 और 9 जनवरी को होने वाली इस हड़ताल में बैंकों के 10 संगठन शामिल होंगे। इन दो दिनों में बैंकों में कर्मचारी कोई कामकाज नहीं करेंगे। ऑल इंडिया बैंक इंप्लाई एसोसिएशन और बैंक इंप्लाइज फेडरेशन ऑफ इंडिया की ओर से इंडियन बैंक एसोसिएशन को हड़ताल की जानकारी दे दी है।
बैंक कर्मचारी सातवें वेतन आयोग के अनुसार वेतन बढ़ोत्तरी समेत कई मांगों को लेकर अपना विरोध कर रहे हैं। केंद्र सरकार की कर्मचारी विरोधी नीति समेत 12 मांगों को लेकर बैंक कर्मचारियों के 10 केंद्रीय संगठनों ने इस हड़ताल का आह्वान किया है। इन संगठनों में इंटक, एआईटीयूसी, एचएमएस, सीटू, एआईसीसीटीयूसी, यूटीयूसी, एलपीएफ, एसईडब्लूए शामिल हैं।