यूपी के इस जिले में होती है ‘कुत्ते’ की पूजा !

गाज़ियाबाद – यूं तो  हमारा देश  धार्मिक आस्था का एक बहुत बड़ा केन्द्र है जहां पर अनेक धर्म व अनेक जातियों के लोग अपनी इच्छा के अनुसार अपने धर्म व अपने इष्ट देव की पूजा कर अपने मनवांछित फल की कामना करते हैं। 

वही अगर हम  आस्था की बात करते हैं तो  गाजियाबाद से मात्र 10 किलोमीटर दूर चिपयन गांव मे  एक ऐसा मंदिर देखने को मिला जिसमें लोग बड़ी  आस्था के साथ एक कुत्ते की  मूर्ति की  पूजा करते हैं। लोगों का मानना है कि यहां बने हुए जल कुंड में स्नान करने से कुत्ते के काटने से हुई बीमारी रेबीज का असर खत्म हो जाता है। इस तालाब में नहाने से इंसान को कई अन्य परेशानियों से भी मुक्ति मिल जाती है।

जब हमने वहां आने वाले श्रद्धालुओं से इस मंदिर के बारे में पूछा तो उन्होंने बताया कि कि यह कुत्ता एक बंजारे का था। बंजारा बहुत कर्ज के नीचे दबा हुआ था, और इसके बदले में बंजारे ने अपने कुत्ते को साहूकार के पास गिरवी रख दिया था। कुत्ता जब साहूकार के पास गिरवी था। उसी दौरान कुछ चोरों ने साहूकार के घर चोरी करने का प्रयास किया। जिस पर कुत्ते ने सभी घरवालों को जगा कर चोरी की घटना को रुकवा दिया। जिससे खुश होकर साहूकार ने कुत्ते को अपने कर्ज से मुक्त करते हुए आजाद कर दिया, और बंजारे के पास भेज दिया।

इस सारी घटना से अनजान बंजारे ने जब कुत्ते को अपने पास देखा तो उसने सोचा कि वह उसकी बेइज्जती कराकर साहूकार के घर से भाग आया है। जिससे नाराज होकर बंजारे ने कुत्ते को मारना शुरू कर दिया. परंतु कुत्ता अपने मालिक के प्रति वफादार था उसने वहीं पर अपने प्राण त्याग दिए। जहॉ पर आज उस कुत्ते की समाधि बनी हुई है। समाधि के पास ही उस कुत्ते की प्रतिमा भी बनी हुई है और मंदिर के पास ही एक जलकुंड भी बना है। जिसमें नहाने के लिये प्रतिदिन हजारों लोग दूर दूर से यहां आते हैं।

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