अमरोहा — उत्तर प्रदेश के अमरोहा जिले में पिछले एक सप्ताह में सौ से अधिक बंदरों की मौत से स्थानीय लोगों के साथ ही वन विभाग में हडकंप मचा हुआ है. एक ही गांव में हो रही बंदरों की मौत से गांव में भी दहशत का माहौल है. पिछले कई दिनों से लगातार हो रही बंदरों की मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. वहीं अभी तक बंदरों की मौत का राज सामने नहीं आ सका है.
मिली जानकारी के अनुसार अमरोहा जनपद के आदमपुर थाना इलाके के ढवारसी गांव में पिछले सात-आठ दिनों से लगातार बंदरों की मौत हो रही है .लेकिन बंदरों की मौत की वजह का कुछ पता नही चल पा रहा है. गांव वालों के मुताबिक बंदर खूनी दस्त के बाद तड़प-तड़प कर दम तोड़ देते हैं. रोजाना दस से बारह बंदर मर रहे हैं. बंदरों की मौत से लोग हैरान हैं. चूंकि इस जानवर को धर्म विशेष से भी जोड़ा जाता है इसलिए ग्रामीणों में ख़ासा आक्रोश भी है. इसके साथ ही लोगों में लगातार हो रही बंदरो की मौत से दहशत भी व्याप्त हैं. ग्रामीण मान रहे हैं कि अगर बंदरों की मौत बीमारी से हो रही है तो कहीं यह बीमारी लोगों को भी अपने चपेट में न ले ले.
उधर गांव की प्रधान पति राजीव अग्रवाल ने बताया कि अब तक करीब सौ से ज्यादा बंदरो की मौत हो चुकी है. उन्होंने प्रशासन से बंदरों की मौत की जांच कराने की मांग उठाई है. जिसके बाद पशु चिकित्सा विभाग व वन विभाग की टीमों ने गांव में जाकर बंदरों को दवाईयां देनी शुरू कर दी हैं. लेकिन इसके बाबजूद बंदरों की मौत का सिलसिला थम नहीं रहा है, जो बेहद चिंता का विषय है.
लगातार हो रही बंदरों की मौत की वजह जानने के लिए गांव में पहुंचे पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ तेजपाल सिंह ने बताया कि पोस्टमार्टम में यह बात साबित हुई है कि बंदर का पेट खाली था. यानी मरने से दो तीन दिन पहले से बंदर ने कुछ खाया नहीं था. बंदर का फेफड़ा और लीवर भी खराब मिला है. खूनी दस्त से बंदरों की मौत हो रही है, लेकिन असलियत में मौत का क्या कारण है ये बिसरा की रिपोर्ट आने के बाद ही पता लगेगा. फिलहाल पोस्टमार्टम के बाद बंदरों का बिसरा आरवीआई बरेली भेजा गया है. जिससे बंदरों की मौत का सच सामने आ सके. वहीं जो बंदर बीमार है उनका इलाज किया जा रहा है.