बहुजन समाज पार्टी (BSP) के पूर्व महासचिव नसीमुद्दीन सिद्दीकी और राम अचल राजभर को मंगलवार को पुलिस गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया.
दोनों नेताओं ने एमपी-एमएलए कोर्ट में सरेंडर कर दिया. जहां कोर्ट ने दोनों नेताओं को जेल भेज दिया. दोनों नेताओं ने भाजपा नेता दयाशंकर सिंह की पत्नी स्वाती सिंह व परिवार की महिलाओं पर अमर्यादित टिप्पणी की थी.
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कोर्ट में किया सरेंडर…
बता दें कि BSP के दोनों नेताओं ने सरेंडर के साथ अंतरिम जमानत की अर्जी भी डाली थी. कोर्ट ने सुनवाई के बाद अंतरिम जमानत की अर्जी खारिज करते हुए जेल भेज दिया. इससे पहले दोनों नेताओं को कोर्ट ने भगोड़ा घोषित करते हुए उनकी संपत्ति को कुर्क करने का आदेश दिया है. कोर्ट ने इस मामले में इंस्पेक्टर हजरतगंज को 20 फ़रवरी तक कुर्की की आख्या भी पेश करने का आदेश दिया था.
पॉक्सो एक्ट के तहत दाखिल हुई थी चार्जशीट
गौरतलब है कि बसपा (BSP) के तत्कालीन राष्ट्रीय सचिव मेवा लाल गौतम, अतर सिंह राव, नौशाद अली भी इस मामले में अभियुक्त हैं. 12 जनवरी को सभी अभियुक्तों के खिलाफ पॉक्सो एक्ट में चार्जशीट दाखिल हुई थी. बता दें बसपा सुप्रीमो के खिलाफ बीजेपी नेता की अमर्यादित टिपण्णी के बाद भड़के बसपा नेताओं ने लखनऊ में प्राधारहण किया था.
हजरतगंज थाने में दर्ज हुई थी एफआईआर
इस दौरान दयाशंकर की पत्नी स्वाति सिंह, मां तेतरी देवी और नाबालिग बेटी को लेकर अभद्र टिपण्णी की गई थी. इस मामले में 22 जुलाई 2016 को दयाशंकर सिंह की मां तेतरी देवी ने हजरतगंज थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी.
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