प्रतापगढ़ — अपराध और अपराधियों के कारनामो से कराह रहे जिले में डीआईजी प्रयागराज कवींद्र प्रताप सिंह ने पीबीडीसी में महिला सुरक्षा के टिप्स दिए। इसके बाद डीआईजी पुलिस लाइन के सई काम्प्लेक्स में जिले के थानेदारों सहित सभी मातहतो की क्लास लगाई।
वहीं मादक पदार्थों, शराब गांजा और स्मैक बेचने वालों के खिलाफ अभियान चलाने के साथ ही विवेचनाओं और दर्ज मुकदमो में गिरफ्तारी के साथ ही बेगुनाहों को जेल न भेजने की हिदायत भी दी।
बता दे कि नवागत एसपी की निगाहों में अपनी छवि मेनटेन करने के चक्कर मे फर्जीवाड़े से भी बाज नही आ रहे पुलिस वाले, चार छह शीशी दारू दस पुड़िया गांजे के साथ जेल भेज रहे है। जबकि शराब की तस्करी और अवैध फैक्ट्रियां जिले में धड़ल्ले से संचालित हो रही है वो भी पुलिस और सफेदपोशों की मिलभगत से, माफियाओं पर मुदमे तो दर्ज किए जाते है लेकिन इन पर पुलिस हांथ डालने की हिम्मत नही जुटा पाती।स्मैक की लत के चलते युवक जिंदगी बर्बाद कर रहे है स्मैक का धंधा भी जिले में फलफूल रहा है पुलिस की नाक के नीचे।
पुलिस की ज्यादा किरकिरी तो तब हुई जब मऊआइमा में एनकाउंटर में घायल युवक के हाथ में वो तमंचा नजर आया जिसमे ट्रिगर ही नही था तो कैसे पुलिस पार्टी पर फायर हुआ। जिस सफारी में चार तमंचे पुलिस ने दिखाए जिसमे से तीन तमंचे तीन सौ पंद्रह बोर के एक तमंचा बारह बोर का और कारतूस एक दर्जन वो भी सिर्फ बारह बोर की।
खास बात ये रही कि सभी असलहों में इस कदर जंग लगी थी कि फायर होना सम्भव ही नही था। जिसके बाद शोशल मीडिया में जमकर किरकिरी हुई और अंततः डीआईजी के संज्ञान में मामला आने के बाद थानेदार को एसपी ने लाइनहाजिर कर दिया।
(रिपोर्ट-मनोज त्रिपाठी,प्रतापगढ़)