Lok Sabha Election 2024: मध्य प्रदेश में कांग्रेस को तगड़ा झटका लगा है। इंदौर लोकसभा सीट कांग्रेस प्रत्याशी अक्षय कांति बम (Akshay Kanti ) ने अपना नामांकन वापस ले लिया है। इतना ही नहीं कांग्रेस छोड़कर भाजपा में शामिल हो गए और उपमुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा और मंत्री कैलाश विजयवर्गीय की मौजूदगी में बीजेपी की सदस्यता ली।
BJP का थमा दामन
दरअसल, इंदौर लोकसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी अक्षय कांति बम सोमवार को कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय और बीजेपी विधायक रमेश मेंदोला के साथ कलेक्टर कार्यालय पहुंचे और अपना नामांकन वापस ले लिया। इसके बाद वे कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय और विधायक मेंदोला के साथ बीजेपी कार्यालय पहुंचे और बीजेपी की सदस्यता ली।
अक्षय कांति बम का कहना है कि नामांकन दाखिल करने के बाद से उन्हें पार्टी से कोई समर्थन नहीं मिल रहा है। इसी बीच अक्षय कांति ने एक होटल में मुंबई के मंत्री कैलाश विजयवर्गीय से मुलाकात की। इसके बाद बीजेपी विधायक रमेश मेंदोला को नामांकन फॉर्म लेने के लिए अक्षय के साथ भेजा गया, जबकि विजयवर्गीय खुद बाहर खड़े रहे। इसके साथ ही अक्षय कांति बाम के घर की सुरक्षा बढ़ा दी गई है।
पहली बार कांग्रेस चुनाव मैदान में नहीं
कांग्रेस के अधिकृत प्रत्याशी अक्षय कांति बम के नामांकन वापस लेने के साथ ही अब इंदौर में बीजेपी के लिए कांग्रेस की चुनौती भी खत्म हो गई है। इंदौर में हुए लोकसभा चुनाव के इतिहास में यह पहला मौका है, जब कांग्रेस का कोई उम्मीदवार मैदान में नहीं होगा। इंदौर में 1951 से अब तक हुए लोकसभा चुनावों में सात बार कांग्रेस और नौ बार बीजेपी चुनाव जीत चुकी है। जनता पार्टी और कम्युनिस्ट पार्टी यहां एक-एक बार चुनाव जीत चुकी हैं।
भाजपा ने पहली बार 1989 में इंदौर में चुनाव जीता था, जब सुमित्रा महाजन ने मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश चंद्र सेठी को हराया था। इसके बाद इंदौर बीजेपी का गढ़ बन गया और महाजन आठ बार इंदौर से सांसद रहे। फिर 2019 में बीजेपी ने शंकर लालवानी को अपना उम्मीदवार बनाया, जब उन्होंने कांग्रेस उम्मीदवार को 5 लाख वोटों के अंतर से हराया। इस बार भी बीजेपी ने फिर से शंकर लालवानी को मैदान में उतारा है।
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