इलाहाबाद — इलाहाबाद हाईकोर्ट ने योगी सरकार को झटका देते हुए पुलिस विभाग में 50 वर्ष की आयु पूरी कर चुके पुलिस कर्मियों की अनिवार्य सेवानिवृत्ति पर रोक लगा दी है. दर्जनों पुलिस कर्मियों की याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए न्यायमूर्ति आरएसआर मौर्या ने यह फैसला सुनाया.इसके अलावा कोर्ट ने यूपी सरकार से इस बावत जानकारी भी मांगी है. इसकी अगली सुनवाई नवम्बर के तीसरे सप्ताह में होगी.
दरअसल तमाम पुलिस कर्मियों की याचिकाओं पर बहस करते हुए अधिवक्ता विजय गौतम का कहना था कि याचीगण को छह जुलाई 2017 के शासनादेश के तहत अनिवार्य सेवानिवृत्ति का आदेश 11 दिसम्बर 2017 को जारी कर दिया गया.आदेश में इस बात का भी जिक्र किया गया कि उनके विरुद्ध कितनी प्रतिकूल प्रविष्टियां हैं. अधिवक्ता का कहना था कि अनिवार्य सेवानिवृत्ति देने में शासनादेश के नियमों का पालन नहीं किया गया. बिना स्क्रीनिंग कमेटी बनाये पिक एण्ड चूज के आधार पर सेवानिवृत्ति दे दी गयी. कोर्ट ने कहा कि अनिवार्य सेवानिवृत्तित के आदेश में कोई जज्बा नहीं होना चाहिए. वहीं कोर्ट ने 11 सितम्बर के आदेश पर रोक लगाते हुए जवाब तलब किया है.