23 दिन जेल में रहने वाली ब्यूटी क्वीन बनना चाहती है शहर की युवा पार्षद
लखनऊ– 22 साल की सपा नेत्री अपूर्वा वर्मा जानकीपुरम द्वितीय वार्ड से पार्षद कैंडिडेट हैं। इन्होंने यूपी के सीएम आदित्यनाथ योगी की फ्लीट को काला झंडा दिखाया था, जिस वजह से ये अपने साथियों के साथ 23 दिन तक जेल में भी रही थीं। इनका कहना है कि अगर यह इलेक्शन जीतती हैं तो ये लखनऊ की यंगेस्ट पार्षद होंगी।
ऐसी चर्चाएं थीं कि अपूर्वा से पहले किसी और नाम लिस्ट में शामिल किया गया था। उन्हें टिकट मिलने के बाद कार्यकर्ताओं ने बवाल भी किया। इस पर उन्होंने बताया, “ऐसा बिलकुल नहीं है। मेरा नाम दिवाली के टाइम ही शॉर्ट लिस्ट कर दिया गया था। वो एक टाइपिंग मिस्टेक थी, जो कि बाद में सही की गई। ऑफिशियल लिस्ट कॉन्फिडेंशियल होती है, मीडिया में ओपन नहीं होती। राष्ट्रीय अध्यक्ष ने मुझे आशीर्वाद भी दिया था।”
अपूर्वा की मां सिंगल मदर हैं। वो सरकारी टीचर की जॉब से बेटी और दो बेटों (राहुल और आकाश) की परवरिश कर रही हैं। मधु बताती हैं, “मैंने अकेले अपने बच्चों को पाला है। कभी उनकी पढ़ाई-लिखाई में कोई समझौता नहीं किया। बेटी की शुरुआती पढ़ाई भाऊराव देवरस, अलीगंज से हुई। उसने आईटी कॉलेज से ग्रेजुएशन किया है और प्रेजेंट में लखनऊ यूनिवर्सिटी से मास्टर्स कर रही है।”