महोबा में आज होने वाले दीक्षांत समारोह में देश विदेश के कई मौलाना होगे शामिल

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महोबा — मुफ्ती आजम बुन्देलखण्ड मुफ्ती हसीब उददीन की याद में मदरसा दारूलउलूम गौसिया रजविया जश्ने दस्तारबंदी का आयोजन कर रहा है। 23 अप्रैल को आयोजित होने वाले दीक्षांत समारोह में देश और विदेश के मौलाना शिरकत कर रहे है।यहां 19 छात्रों को सनंद, डिग्री व दस्तार की जायेगीं।

बता दें कि अपनी स्थापना से लेकर दारूलउलूम गौसिया रजविया 50 आलिम और 100 हाफिज की दस्तार कर चुका है, यह उसका आठवां आयोजन है। जश्ने दस्तारबंदी को लेकर यहां आयोजित हुयी प्रेस वार्ता में मदरसा के प्रधानाचार्य आलिम मौलाना जमाल उददीन ने बताया कि 23 अप्रैल को शहर के काजीपुरा मैदान में आयोजित होने वाले जलसे में तकरीबन एक सैकड़ा उलमा भाग ले रहे है।

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उन्होंने बताया कि, मौलाना अब्दुल हलीम नागपुर, मुफ्ती मोहम्मद हनीफ कानपुर, मौलाना बशीरूल कादरी विशाखापटनम, अब्दुल रहमान विशाखापटनम, मौलाना अलीम उददीन बंगलरू, और मलेशिया से आ रहे बदुरूज्जमा, और सागर यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर डा0 अफजल शिरकत कर रहे है और यहां आयोजित जलसे से खिताब करेगें, इसके अलावा नाते, मुस्तफा गुनगुनाने के लिये शायर नसीम अख्तर कानपुर, कारी नोमान कटनी, कारी अखलाक टीकमगंढ़, नुसरत बदौसा बांदा आ रहे है। 

मौलाना जमालउददीन ने मुफ्ती हसीब उददीन के बारे में बताया कि उनका जुड़ाव बुन्देलखण्ड से तकरीबन 42 साल तक रहा है, उन्होंने 21 साल बांदा के मदरसा रब्बानी में गुजारे दो साल उन्होंने बांदा जनपद के सादीमदनपुर व 18 साल उन्होंने महोबा के काजीपुरा स्थित दारूल उलूम गौसिया रजविया में दीनी खितमात में गुजारे।

मुफ्ती हसीब उददीन बिहार के हरेवा जनपद सहरसा के रहने वाले थे और उनका इन्तकाल 10 जनवरी 2018 को हुआ। उन्हीं की याद में 23 अप्रैल को शानदार जलसा दस्तारबंदी का आयोजन किया जा रहा है, सागर यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर डा0 अफजल ने मुफ्ती हसीब उददीन पर आधारित जीवनी पर किताब लिखी है जिसका विमोचन 23 अप्रैल को आयोजित जलसे में होगा, पत्रकार वार्ता के दौरान न्याज मोहम्मद, हाफिज खलिक भी मौजूद रहे। 

(रिपोर्ट-तेज प्रताप सिंह, महोबा)

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