शौचालय और आवास के नाम पर जमकर हो रही धांधली
फर्रूखाबाद– स्वच्छ भारत मिशन के तहत ग्राम पंचायतों में कराए जा रहे शौचालय निर्माण की सूची में धांधली का खेल खेला जा रहा है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत ग्राम पंचायतों में शौचालय निर्माण के लिए पात्रों की सूची तैयार करने में पलीता लगाने का काम किया है।
अभियान के तहत भारत सरकार की मदद से शौचालय निर्माण के लिए तैयार की गई पात्रों की सूची तो तैयार की जाती है लेकिन उन्हें सरकार द्वारा की जाने वाली सुवधाएं नहीं दी जा रही है । जो पात्र है उन्हें अभी तक आवास नहीं दिए है ।आवास के नाम पर प्रधान द्वारा बीस से तीस हजार की मांग की जा रही है । इस गांव में प्रसिद शिव मंदिर भी है जहा दूर दूर से लोग आते है । अपनी विकास की गवाही यह मंदिर दे रहा है । हम बात कर रहे है फर्रुखाबाद के ब्लाक राजेपुर के गांव तुसौर की । जहा 32 शौचालयों का निर्माण कराया गया है वो भी सूचि के अनुसार नहीं । किसी भी शौचालय पर पानी की टंकी नहीं रखी गई है। शौचालय के चैम्बर भी मानक के अनुरूप नहीं बनवाए हैं। कुछ शौचालयों में दो के बजाए एक ही गड्ढा बनाया है। इस गांव को जोड़ने वाली सभी सड़के ज्यादातर खराब है। जितने भी रोड बनाए गए उनके किनारे किसी भी प्रकार का नाला नाली नही बनाई जा रही है। जिले के ग्रामीण क्षेत्र में तो बहुत बुरा हाल है। गांव की प्रधान सुमन देवी तो महिला है उनकी प्रधानी उनका पुत्र चला रहा है । शौचालय से लेकर आवास बनवाने में रूपये की मांग करता है ।
तुसौर गांव के विकास की बात करे तो जिला मुख्यालय से लगभग 15 किलोमीटर दूर है। गाँव में न तो पक्की सड़क बनी है कर जो सड़के बनी हुई है वह भी टूटी हुई । गांव में लगभग 60 प्रतिशत खेती किसान के घर है गांव में 40 प्रतिशत लोग गरीब व मध्यम वर्गीय परिवार है जो सरकार की तरफ से मदद मिले उसके लिए आस लगाए बैठे है। इस गांव में कुछ गरीब परिवार रहते है उन परिवारों की महिलाओं के पति मजदूरी करके सिर्फ अपने परिवार का पालन पोषण ही कर पाते है। कच्चे घरो में पन्नी तान कर रहने को मजबूर है। शौचालय और घर बनाने के लिए उनके पास रुपया नही है।गाँव में किसी भी प्रकार का कोई भी विकास कार्य दिखाई नहीं देता है ।
(रिपोर्ट-दिलीप कटियार, फर्रूखाबाद)